लखनऊ। लखनऊ विकास प्राधिकरण का बुलडोजर एक बार फिर दौड़ा। एलडीए ने शनिवार को एक बड़ी कार्रवाई करते हुए हनुमान सेतु बजरंग बली मंदिर के पीछे साठ हजार वर्ग फीट जमीन को अवैध कब्जों से मुक्त कराया । जिसकी कीमत सौ करोड़ रुपए बताई जा रही है ।
मंदिर के ठीक पीछे सालों से अवैध कब्जा था। कुछ बांग्लादेशियों के भी गैरकानूनी तरीके से बसे होने की शिकायतें थीं। कुछ संदिग्ध गतिविधियां जारी थीं। ऐसे में मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के भूमाफिया और सरकारी जमीन पर अवैध कब्जे विरोधी अभियान का पहला हंटर ही इस कब्जे पर भारी पड़ रहा है। सरकारी अमले ने मिल कर पूरी सख्ती के साथ कब्जा हटाना शुरू कर दिया है। इस दौरान कुछ वकीलों और महिलाओं ने कार्रवाई को रोकने की कोशिश की मगर पुलिस और अफसरों की सख्ती के आगे उनकी एक न चली।
लखनऊ विकास प्राधिकरण ने करोड़ों रुपए की कीमत की करीब 60000 स्क्वायर फीट जमीन खाली कराना शुरू कर दिया है। इस दौरान हल्के विरोध का भी सामना करना पड़ा। जमीन जिसकी कीमत लगभग 100 करोड रुपए आंकी जा रही है। लखनऊ विकास प्राधिकरण के ज़ोन 4 में हनुमान सेतु मंदिर के पीछे ये अतिक्रमण सालों पहले से किया गया था। मौके पर एलडीए तहसीलदार राजेश शुक्ला, अभियंता सुभाष शर्मा सहित लखनऊ विकास प्राधिकरण के कई अधिकारी और महानगर पुलिस पीएसी के साथ मौजूद रहे।
इस बारे में तहसीलदार राजेश शुक्ल ने बताया कि कुछ लोगों ने विरोध करने की कोशिश की थी मगर हमने उनको पीछे हटा दिया है। राजेश शुक्ल ने बताया कि ये कार्रवाई कम से कम दो दिन तक चलेगी तब काम पूरा होगा। यहां कई ट्रक कबाड़ जमा हुआ है, जिसको हटाना बहुत जरूरी है, तभी जमीन खाली करवाई जा सकेगी।
एलडीए की संयुक्त सचिव ऋतु सुहास जब नजूल का काम देख रही थीं तब उन्होंने यहां के पेंचीदा मामलों और कब्जों को हटाने संबंधित दस्तावेजी और अदालती कार्यवाही को लेकर बहुत मेहनत की थी। जिसके बाद यहां के कुछ स्टे भी हट गए थे। जिससे ये कार्रवाई करना प्राधिकरण के लिए आसान हो गया. वरना यहां सालों से कब्जा नहीं हटाया जा सका था।